
वाइस एडमिरल (सेवानिवृत्त) अजेंद्र बहादुर सिंह ने मुंबई हमले का जिक्र करते हुए कहा कि जब 26/11 हुआ था तब हम लोगों ने सोचा के कुछ होगा, लेकिन हुआ कुछ नहीं। लेकिन अब सरकार के मन में क्लियरिटी है, हमारी सेना में क्लियरिटी है और इसे देश को भी क्लियरिटी है। अब पानी सिर से ऊपर उठ चुका है। अब हमें कोई भी चीज मंजूर नहीं है। इसलिए हमें अपने देश को बचाना है, हमें अपनी संस्था को बचाना है तो हमें पर्याप्त जवाब देना है, चाहे जैसी परिस्थितियां हो। क्योंकि यही एक सही तरीका है, हमें सेल्फ डिफेंस खुद करना होगा।
सभी देश चाहते हैं कि भारत का विकास न हो'
उन्होंने कहा कि नौसेना के पास पनडुब्बियां हैं। इसमें मिसाइल होती हैं। सबसे ज्यादा महत्वपूर्ण पनडुब्बी परमाणु ऊर्जा से लैस है। यह सब भारत में बनाई जाती हैं। नौसेना के पास 140 जहाज हैं। नौसेना आज के आयाम पर काम करती है। दुनिया में हर जगह संघर्ष है। इस्राइल-ईरान संघर्ष से हम दो प्रभाव पड़े हैं। हमारे तेल स्रोत बंद होंगे और व्यापार प्रभावित होता है। रूस-यूक्रेन युद्ध से भारत की आपूर्ति प्रभावित होती है। उन्होंने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर जरूरी था। चीन को हमने करारा जवाब दिया। यह भारत के विकास को दर्शाती है। सभी देश चाहते हैं कि भारत का विकास न हो। इसलिए हमारा मजबूत होना जरूरी है।
आपके पास नौसेना है तो आपका प्रभाव बढ़ेगा'
वाइस एडमिरल (सेवानिवृत्त) अजेंद्र बहादुर सिंह ने कहा कि एक हजार पहले यह साफ था कि आपके पास नौसेना है तो आपका प्रभाव बढ़ेगा। भारत के पास जमीनी क्षेत्र ज्यादा है। मगर हम नौसेना के जरिये आत्मनिर्भर बने हैं। मेक इन इंडिया को भारत की नौसेना ने 1960 के दशक में शुरू किया था। सबसे पहले नौसेना ने आईएनएस अजय बनाया। भारत अभी भी काफी जहाज बना रहा है। आज हमारे रक्षा उद्योग ने काफी काम किया।
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