जयपुर | राजधानी जयपुर समेत राज्य के ज्यादातर शहरों में हवा गंभीर और खतरनाक स्तर पर पहुंच गई है. सीकर में पिछले दो दिनों में प्रदूषण फैलने के कारण सौ से ज्यादा लोग बीमार होकर अस्पताल में भर्ती हुए हैं. राजधानी जयपुर में एयर क्वालिटी इंडेक्स 196 से 327 के बीच है. आदर्श नगर इलाके में सबसे कम प्रदूषण 196 दर्ज किया गया, जबकि सीतापुरा और मानसरोवर इलाके में AQI 300 के पार पहुंच गया|
सांस और स्वास्थ्य पर प्रदूषण के गंभीर प्रभाव
वायु प्रदूषण की वजह से लोगों को खासी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है. सांस लेने में कठिनाई, आंखों में जलन और इचिंग की समस्या आम हो गई है. कई लोगों को इलाज के लिए अस्पताल जाना पड़ रहा है, जिससे अस्पतालों की ओपीडी में भीड़ बढ़ने लगी है. लोग सुरक्षा के लिए मास्क पहनकर ही घर से बाहर निकल रहे हैं|
स्मॉग और मौसम के कारण जनजीवन प्रभावित
स्मॉग के असर के चलते सड़क पर धुंध के कारण वाहन चलाने में भी दिक्कत हो रही है. लोगों का कहना है कि सरकार को इस स्थिति में जरूरी कदम उठाने चाहिए, जैसे वाहनों के चलने और लोगों के बाहर निकलने पर रोक लगाना. जानकारों का कहना है कि फिलहाल राजस्थान के लोगों को इस समस्या से जल्द निजात मिलने की संभावना नहीं है. तापमान गिर रहा है, ठंड बढ़ रही है और हवा नहीं चल रही, जिससे प्रदूषण के कण जमीन की सतह के पास बने हुए हैं और AQI लगातार बढ़ा हुआ है.
एयर क्वालिटी इंडेक्स श्रेणियां और प्रदूषण बढ़ने की वजह
एयर क्वालिटी इंडेक्स (AQI) के अनुसार वायु की गुणवत्ता को श्रेणियों में बांटा गया है. अच्छा स्तर 0–50 AQI, ठीक 51–100 AQI, मध्यम 101–200 AQI, खराब 201–300 AQI, गंभीर 301–400 AQI और खतरनाक 401–500 AQI के बीच आता है|
जब तापमान गिर जाता है और हवा रुक जाती है, तो प्रदूषण के कण हवा में फैल नहीं पाते और जमीन की सतह के पास ही जमा हो जाते हैं. यही वजह है कि ठंड और स्थिर मौसम में AQI तेजी से बढ़ जाता है और लोगों के स्वास्थ्य पर गंभीर असर पड़ता है|

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